दोस्तों
Hair Transplant करने से पहले जानिये सर्जरीकल
Hair Transplant (केश प्रत्यारोपण) के फायदे
और नुक्सान हिंदी में (Advantages and disadvantages of hair transplant in Hindi).
यदि आप अपने गंजे पन को दूर करने जा रहे हैं तो जरूर जानिए की क्या हेयर ट्रांप्लांट सही है या नहीं. इससे
पहले की पोस्ट में आपको इस तकनीक से सम्बंधित सभी जानकारी मिल जायेगी.
सर्जरीकल Hair Transplant के
फायदे (Advantages of
hair transplant in Hindi)
सर्जरीकल Hair Transplant (केश प्रत्यारोपण) के फायदे और नुक्सान हिंदी में (Advantages and disadvantages of hair transplant in Hindi)
हेयर ट्रांसप्लांट एक इस प्रकार की तकनीक है
जिसमें सर के गंजे भाग में सर के दूसरे हिस्से से बालों को ट्रांसप्लांट किया जाता
है. इसका मतलब ये है कि जो व्यक्ति हेयर ट्रांसप्लांट करवा रहा है उसके सर के पीछे
बाल या दूसरे हिस्से से बालों को निकाल कर बिना बालों वाले क्षेत्र में लगा दिए जाते
हैं. अब आप ये सोच रहे होंगे की इस प्रक्रिया में दर्द भी होता होगा, तो आपको बता दूं
कि ट्रांसप्लांट से पहले एनेस्थीसिया दिया जाता है. हेयर ट्रांसप्लांट हो जाने के बाद
आपको दर्द और सूजन न आये इसके लिए कुछ स्पेशल दवाइयां दी जाती हैं. आज की पोस्ट में
हम जानेंगे की सर्जरीकल Hair Transplant (केश प्रत्यारोपण) के फायदे और
नुक्सान हिंदी में (Advantages and disadvantages of hair transplant in Hindi) और क्या हेयर ट्रांप्लांट सही है या नहीं.
हेयर ट्रांसप्लांट की दो विधियां हैं जिनके बारे
में आप पिछली पोस्ट में जान सकते हैं डिटेल में जिनका नाम है FUE (Follicular unit
extraction) और FUT (Follicular unit transplantation). इन दोनों प्रक्रियां में से
कौन सी यूज करना है आपके गंजे क्षेत्र को देखकर सर्जन द्वारा तय किया जाता है. यदि
ट्रांस्पलेंट हो जाता है तो आप पहले से ज्यादा जवान, सुन्दर और खूबसूरत दिखने लगते
हैं जिससे आपका आत्मविश्वास भी बढ़ता है.
Hair Transplant कराने की जरूरत कब पड़ती है.
इसकी जरूरत उन लोगों को पढ़ती है जिनके बाल किसी
चोट या फिर किसी बीमारी में झड़ गए हों या फिर सामान्य रूप से बाल झड़ चुके हों या गंजे
हो चुके हों. जिन महिलाओं या पुरुष के बाल घने न हों वो भी बालों को घने करा सकते हैं
इसके जरिये.
जिन लोगों के सर में पर्याप्त डोनर एरिया (जंहा
से बाल लिए जाते हैं) न हो या जिनके सर की पहले ही कोई सर्जरी हो चुकी हो या फिर सर
में ऐसी गहरी चोट लगी हो जंहा पर हलके हलके बाल हों डॉक्टर ऐसे लोगों को इसकी सलाह
नहीं देते हैं.
डॉक्टर
उन लोगों को भी हेयर ट्रांसप्लांट की सलाह नहीं देते जिनके बाल कोई दवा के रिएक्शन
से झड़े हों अथवा केंसर की बीमारी से झड़े हैं.
सर्जरीकल Hair Transplant के
फायदे (Advantages of
hair transplant in Hindi)
1. Hair Transplant से
उम्र कम लगती है - आप लोगों ने आम तौर पर देखा होगा कि जिन लोगों के बाल झड़ गए
होते हैं उनकी उम्र कुछ ज्यादा लगती है कहने का मतलब है की यदि आपके सर में बाल नहीं
हैं तो आप जवानी खो देते हैं और बूढ़े लगने लगते हैं. Hair Transplant से आप
जवान लगने लगते हैं और सर उठाकर चल सकते हैं.
2. सर्जरी के बाद आत्मविश्वास बढ़ता
है - हेयर ट्रांस्पलेंट से आपका आत्मविश्वास भी बढ़ता है इसमें
कोई शक नहीं है, ये भी एक सबसे बड़ा कारण है हेयर ट्रांस्पलेंट कराने का. खेर गंजा होना
कोई शर्म की बात तो नहीं है लेकिन कहीं न कहीं ये बात खटकती है और चेहरे की सोभा भी
बिगड़ जाती है. यही कारण है कि जो लोग गंजे होते हैं वो इसकी मदद से अपनी खूबसूरती वापस
ले आते हैं.
ये बात
भी सही है लोग गंजे व्यक्ति का मजाक उड़ाते हैं और तरह तरह के जोक मारते हैं. पर यदि
आप एक बार बाल प्रत्यारोपण करा लेते हैं तो डटकर ऐसे लोगों का सामना कर सकते हैं.
3. Hair Transplant से पाएं बिल्कुल
नेचुरल बाल - इसका सबसे बड़ा फायदा यही है की आप मन चाहे बाल फिर से
वापस ला सकते हैं जो बिलकुल प्राकृतिक होते हैं. यानि बाल समय से बढ़ते हैं और आप इनको
कत्वा भी सकते हैं, मन चाहि हेयर स्टाइल रख सकते हैं.
4. इसकी लागत कम होती है - आपको
यह जानकार खुशी होगी कि हेयर ट्रांसप्लांट करवाना आपकी जेब को महंगा नहीं पढ़ेगा. ज्यादातर
लोग यही सोचते हैं कि ये बहुत महंगा होता है जिससे कई लोग गंजे के गंजे ही रहते हैं.
पर ये उतना महंगा नहीं होता है और गंजेपन से छुटकारा पाने का एक बेहतरीन विकल्प है.
सर्जरीकल Hair Transplant (केश प्रत्यारोपण) के नुक्सान (Side Effects) हिंदी में
दुनियां में जो भी वस्तु या तकनीक फायदेमंद होती
है उसके कुछ नुकसान भी होते हैं. पर में आपको बता दूँ की हेयर ट्रांसप्लांट के नुक्सान
जो भी होते हैं वो परमानेंट नहीं होते हैं, क्योंकि ये एक कास्मेटिक क्रिया है. आम
नुक्सान की बात करें जैसे सूजन आना, खुजली होना आदि. इन सब परेशानियाँ के लिए आपको
पहले से ही दवाई दे दी जाती है सर्जन द्वारा. इतना ही नहीं आपके डॉक्टर साहब ट्रांसप्लांट
के बाद आपको किस तरह से देखभाल करनी है सब बता देते हैं. कुछ सामान्य परेशानियाँ नीचे
दी गयीं हैं.
1. रक्त स्राव (Bleeding) होना -
हेयर ट्रांस्पलेंट के बाद रक्त स्राव होने की संभावना ज्यादा होती है पर ज्यादा तर
रक्त स्राव का मामला कम ही सामने आता है. देखिये जब बाल एक जगह से दूसरी जगह लगाएंगे
तो थोड़ा बहुत रक्त स्राव होना लाजमी है और
इस रक्त स्राव को प्रेषर द्वारा रोका भी जा सकता है. कुछ लोगों में Bleeding ज्यादा
होता है जिसको अलग से टाँके लगाकर रोक दिया जाता है.
2. संक्रमण (Infection) का खतरा होना -
हेयर ट्रांस्पलेंट के बाद संक्रमण
(Infection) का भी चांस होता है, पर बहुत कम केसों में, मतलब
एक हज़ार में से किसी एक व्यक्ति में ऐसा हो सकता है. यदि ऐसा हो भी जाता है तो दवाइयों
द्वारा ठीक कर दिया जाता है.
3. खुजली (Itching) का होना -
हेयर ट्रांस्पलेंट के बाद आपके सर में खुजली होती है जो की बिलकुल सामान्य सी बात है.
पर यदि आप इस हलकी फुलकी खुजली को नजर अंदाज कर देते हैं तो आपको ज्यादा परेशानी हो
सकती है. इस तरह की खुजली अधिकतर सर की ऊपरी परत निकलने के कारण होती है जिसको आप आसानी
के साथ शैम्पू यूज करके दूर कर सकते हैं. एक बात और यदि ये खुजली हद से ज्यादा होने
लगे तो तुरंत डॉक्टर को दिखाएं.
4. घाव के निशान (Scars) दिखाई देना -
घाव के निशान वास्तव में एक चिंता का विषय होता है. यदि हेयर ट्रांसप्लांट के बाद किसी
भी तरह का घाव दिखाई देता है तो तुरंत सर्जन को चेक कराएं. इस तरह की समस्या उन इंसानों
में पायी जाती है जिनकी त्वचा अधिक संवेदनशील (sensitive) होती है और जो व्यक्ति FUT
Hair Transplant करते हैं.
5. बालों का पतला (thin) होना -
जब सर पर एक जगह से दूसरी जगह पर बाल लगाए जाते हैं तो कुछ बाल सही से नहीं लग पाते
हैं जिसके कारण ये पतले हो सकते हैं और इनकी झड़ने की संभावना ज्यादा होती है
6. अल्सर
(Ulcer) - ये समस्या तब होती है जब बालों की जड़ें कमजोर हो जातीं
हैं और सर की त्वचा के अंदर तक घुस जातीं हैं ये एक हलकी सी फुंसी की तरह का होता है
और ये कभी भी आपको कोई परेशानी नहीं पहुंचता है, यदि आप सही समय पर सर्जन को दिखा देते
है